आपको बता दें कि यह पूरा विवाद जोधपुर के जालोरी गेट पर झंडा उतार फेंकने और दूसरा झंडा लगाने को लेकर शुरू हुआ था। इसके बाद दोनों ओर से पथराव हुआ। पुलिस ने लाठीचार्ज कर हालात काबू में किए लेकिन फिर अगले दिन यानि मंगलवार की सुबह एक बार फिर पथराव की स्थिति सामने आई जिसके बाद पुलिस को आंसू गैस के गोले छोड़ने पड़े।
तो वहीं स्थित को नियंत्रण में करने हेतु प्रशासन द्वारा 10 थाना इलाकों में कर्फ्यू व इंटरनेट सेवाएं निलंबित के आदेश किए गए हैं। बता दें कि पुलिस द्वारा अब तक 97 लोगों को हिरासत में लिया गया है। तो वहीं विपक्ष ने इस पूरे मामले पर गहलोत सरकार को जमकर आड़े हाथ लिया है।
भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष पूनिया ने कहा है कि जोधपुर में स्वतंत्रता सेनानी बालमुकुंद बिस्सा जी की प्रतिमा पर भगवा ध्वज को उतारकर इस्लामिक झंडा लगाया गया और जिस तरीके से वहां हिंसा की गई जिससे साफ तौर पर यह जाहिर होता है कि कांग्रेस पार्टी की सरकार का तुष्टीकरण रवैया उनके डूबने का सबसे बड़ा कारण बनेगा।
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